ईस्ट इंडिया टाइम्स राजेन्द्र सिंह धुआँधार

कन्नौज। चंद्रवली एंड संस के नाम से चर्चित कन्नौज के इत्र व्यवसाई के यहां बुधवार की सुबह ही इनकम टैक्स विभाग की टीम पहुंच गई। कारोबारी के मकान का गेट ना खुलने पर विभाग की टीम दीवार फांदकर अंदर पहुंची। इसके बाद टीम ने दस्तावेज और वित्तीय लेनदेन की जांच पड़ताल शुरू की।
बताते चलें कि, कन्नौज में चंद्रवली एंड संस के नाम से इत्र कारोबार की बड़ी पहचान है।
कारोबारी वीरेंद्र दीक्षित के सभी 6 बेटों के इत्र के अलावा अलग अलग कारोबार भी हैं।
सरायमीरा कन्नौज रोड स्थित अशोक नगर में इत्र फर्म चंद्रवली एंड संस कैंपस में सभी 6 भाइयों सुबोध दीक्षित, अतुल, मनोज, बिपिन, राम, श्याम दीक्षित का घर और कारखाना भी है। बुधवार की सुबह इनकम टैक्स टीम और जीएसटी टीम ने गड़बड़ी की शिकायत मिलने पर इत्र व्यापारी के यहां छापेमारी की। मेन गेट नहीं खुला तो दीवार फांदकर अंदर घुस गई टीम। कारोबारी मनोज दीक्षित जहां सपा नेता अखिलेश यादव के करीबी माने जाते हैं वहीं सपा के प्रदेश सचिव भी रह चुके हैं।
राजनैतिक रसूख की अगर बात करें, तो पता चलता है कि, परिवार के बिपिन दीक्षित समाज कल्याण मंत्री असीम अरुण के करीबी माने जाते हैं। राम दीक्षित जिले के पूर्व सांसद सुब्रत पाठक के करीबी हैं। सुबोध दीक्षित की पत्नी उमा दीक्षित तो पिछले साल नगर पालिका अध्यक्ष पद का चुनाव भी लड़ चुकी हैं। इन्होंने बीजेपी से दावेदारी की थी।
लेकिन बीएसपी प्रत्याशी कौसरजहां अंसारी से हार गईं थीं।
सुबोध दीक्षित के पुस्तैनी इत्र कारोबार के साथ साथ स्कूल और कोल्ड स्टोर भी हैं।
सुबोध और अतुल का मुख्य कारोबार इत्र का है, जबकि मनोज राजनीति में सक्रिय हैं।
तीन पीढ़ियों से चल रहे इत्र कारोबार से उपरोक्त परिवारवाद का नाम भी अच्छा खासा चर्चित है।
कन्नौज में इत्र कारोबारी के यहां छापेमारी से हड़कंप मचा रहा।
जिले के अन्य इत्र कारोबारियों से लेकर तमाम लोग क्या कार्यवाही हो रही है, इसको लेकर फोन मोबाइल से एक दूसरे से पुरसाहाल लेते नजर आये।मिडिया कर्मियों ने जब टीम के अधिकारियों से क्या कार्यवाही हो रही है, यह पूँछने पर कुछ भी बताने से मीडिया कर्मियों को मना कर दिया।