बिनौली: काँवड यात्रा में सबसे बड़ी सतर्कता बरनावा में लाक्षागृह पर कांवड़िया को जाने से रोकने की है। इस बार कोर्ट से हिंदू पक्ष में फैसला भी आ गया है। लिहाजा इस बार कांवड़िया उत्साह में लाक्षागृह टीले पर पूर्व में विवादित रहे पुरातत्व विभाग के अधीन स्थल पर जलाभिषेक करने का प्रयास कर सकते हैं। पूर्व वर्षों में भी कई बार कांवड़िया ऐसे प्रयास करते रहते हैं। इसलिए लाक्षागृह जाने वाले रास्तों पर इस बार विशेष सुरक्षा बरते जाने की आवश्यकता है। लेकिन मंगलवार को कांवड़िया की कई टोलियां पुलिस की नाकेबंदी को धता बताकर टीले के पूर्व में विवादित रहे पुरातत्व स्थल पर पहुंचकर भोले बाबा के जयकारे लगाते रहे। गनीमत ये रही कि शिवभक्त कांवड़ियों ने वहां जलाभिषेक नही किया। इतनी बड़ी चूक तो तब हुई जब बरनावा पुलिस चौकी इंचार्ज सुभाष चंद यादव दिन पर लक्षागृह जाने वाले रास्ते पर लगे बैरियर पर डेरा डाले रहे और सब कुछ ठीक होने का दावा वहां पहुंचे आला अधिकारियो से करते रहे। लाक्षागृह गुरुकुल के प्रधानाचार्य अरविंद शास्त्री ने कई बार कांवड़िया को जाने से रोका। इसकी भनक खुफिया एजेन्सी से जुड़े लोगों को मिली तो वे भी वहां दौड़े और रिपोर्ट तैयार करते रहे। इसके अलावा बरनावा डेरा आश्रम के पास पानी की व्यवस्था नही होने से एक कांवड़ियां बेहोश हो गया। जिसके बाद गुस्साए कांवड़ियां ने हंगामा करते हुए काफी देर तक जाम लगाए रखा।

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