खुटार ग्राम पंचायत के सचिव पर करोड़ों का भ्रष्टाचार फर्जी व बिलों के भुक्तान के लगे गंभीर आरोप
सिंगरौली-
सिंगरौली जिले की सबसे प्रमुख पंचायतों में से एक खुटार ग्राम पंचायत, जो राजस्व के हिसाब से सबसे समृद्ध मानी जाती है, इन दिनों भारी भ्रष्टाचार के आरोपों के चलते सुर्खियों में है। स्थानीय निवासियों ने पंचायत के सचिव जितेंद्र विश्वकर्मा और सरपंच पर बिना कार्य कराए करोड़ों रुपये का आहरण करने का गंभीर आरोप लगाया है। ग्रामीणों के अनुसार, कई सरकारी योजनाओं के नाम पर फर्जी बिल लगाए गए और धन का दुरुपयोग किया गया है। पंचायत के खर्चों की पूरी जांच की मांग भी ग्रामीणों द्वारा की जा रही है।
फर्जी बिल और अधिक भुगतान की शिकायतें…
ग्रामीणों ने आरोप लगाते हुए बताया कि सचिन श्री विश्वकर्मा ने पंचायत में कैमरा स्ट्रीट लाइट और वॉटर प्लांट के नाम पर 23 लाख रुपये का भुगतान दिखाया गया है। ग्रामीणों का कहना है कि इस कार्य को 8 से 10 लाख रुपये में ही पूरा किया जा सकता था। यह आरोप लगाया जा रहा है कि कैमरा और लाइट सिर्फ औपचारिकता निभाने के लिए लगाए गए हैं और असल में कोई ठोस काम नहीं हुआ है।
बिना मानक के दुकान निर्माण में लाखों का घोटाला..?
स्थानिक ग्रामीणों का कहना है कि खुटार मार्केट में पंचायत द्वारा दुकानों के निर्माण पर 8.52 लाख रुपये खर्च किए गए। ग्रामीणों ने बताया कि दुकानों के निर्माण में न तो मानकों का पालन किया गया और न ही आवश्यक स्तंभ लगाए गए हैं। इतना ही नहीं, दुकान आवंटन के नाम पर सरपंच व सचिव ने लोगों से 1.25 लाख रुपये की वसूली की है, लेकिन कोई रसीद नहीं दी गई।
सामुदायिक शौचालय निर्माण में हेराफेरी..?
सरस्वती स्कूल खुटार में सामुदायिक शौचालय का निर्माण, जिसकी लागत 3.56 लाख रुपये है, 2022 से अधूरा पड़ा है। ग्रामीणों के अनुसार इस परियोजना के नाम पर 2 लाख रुपये का इलेक्ट्रिकल उपकरणों का फर्जी बिल बनाकर भुगतान कर दिया गया है, लेकिन कोई सामग्री नहीं लगाई गई है।
मुक्ति धाम में मिट्टी के फर्जी बिल का खेल..
मुक्तिधाम निर्माण के लिए तालाब किनारे मिट्टी की भराई पर 3.86 लाख रुपये खर्च किए जाने का दावा किया गया है। ग्रामीणों का आरोप है कि यहां पर 162 ट्रॉली मिट्टी के फर्जी बिल बनाकर पैसा निकाला गया है।
सड़क मरम्मत में अनियमितताएं..?
ग्रामीण ने बताया कि जनवरी और मार्च के बीच सड़क मरम्मत के नाम पर 90 हजार रुपये का भुगतान और सुदामा शाह नामक व्यक्ति को 20 हजार रुपये दिए गए। ग्रामीणों ने आरोप लगाया कि काम आधा-अधूरा ही कराया गया है और बाकी राशि का घोटाला किया गया है।
सचिव ने डीजल के नाम पर फर्जी बिल और हेराफेरी…
आरटीआई से मिली जानकारी के अनुसार, स्वच्छता के लिए कार्य करने वाले ट्रैक्टर के लिए डीजल के नाम पर फर्जी बिल लगाए गए हैं। जनवरी से अप्रैल के महीनों में डीजल की खपत को 5000 रुपये से 20000 रुपये तक दिखाया गया है, जबकि ट्रैक्टर चालक ने बताया कि 2 दिन में मात्र 1 से 3 लीटर डीजल मिलता है। इन फर्जी बिलों से लगभग 20000 रुपये प्रतिमाह का गलत आहरण किया गया है।
इन सभी मामलों को लेकर ग्रामीणों ने की जाँच की मांग..
खुटार पंचायत के ग्रामीणों ने उच्च स्तरीय जांच की मांग की है। ग्रामीणों ने कहा कि जितेंद्र विश्वकर्मा के कार्यकाल में ग्राम पंचायत खुटार में कई योजनाओं में भारी घोटाले किए गए हैं। फर्जी बिलों और बिना कार्य कराए आहरण की जाँच के लिए जिला प्रशासन से अपील की गई है ताकि दोषियों पर कड़ी कार्रवाई हो सके।
खुटार ग्राम पंचायत में भ्रष्टाचार के मामले ने पूरे जिले में हड़कंप मचा दिया है, और जिले के अन्य पंचायतों पर भी प्रश्नचिन्ह खड़ा कर दिया है।
इन सभी मामलों को लेकर मोबाइल फोन के माध्यम से जिला पंचायत सीईओ से संपर्क करने की कोशिश की गई लेकिन उनके द्वारा फोन नहीं उठाया गया..
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